ज्ञानवापी मस्जिद के सर्वे मामले पर गरमाई सियासत, ओवैसी ने SC के अयोध्या फैसले से जोड़े तार

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (Narendra Modi) का संसदीय क्षेत्र वाराणसी (Varanasi) सुर्खियों में बना हुआ है। दरअसल काशी विश्वनाथ (Kashi Vishwanath) और ज्ञानवापी मस्जिद (Gyanvapi Masjid) के परिसर में स्थित श्रृंगार गौरी समेत कई कई विग्रहों का सर्वे किया जा रहा है। यह सर्वे वाराणसी के सीनियर जज डिवीजन के आदेश पर किया जा रहा है।;

Update: 2022-05-07 07:04 GMT

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (Narendra Modi) का संसदीय क्षेत्र वाराणसी (Varanasi) सुर्खियों में बना हुआ है। दरअसल काशी विश्वनाथ (Kashi Vishwanath) और ज्ञानवापी मस्जिद (Gyanvapi Masjid) के परिसर में स्थित श्रृंगार गौरी समेत कई कई विग्रहों का सर्वे किया जा रहा है। यह सर्वे वाराणसी के सीनियर जज डिवीजन के आदेश पर किया जा रहा है। लेकिन अब इसको लेकर सियासी घमासान शुरू हो गया है।

इसी बीच AIMIM चीफ असदुद्दीन ओवैसी (Asaduddin Owaisi) ने ज्ञानवापी मस्जिद के सर्वे को कानून का उल्लंघन करार दिया है। असदुद्दीन ओवैसी ने कहा कि काशी की ज्ञानवापी मस्जिद का सर्वेक्षण करने का आदेश 1991 के पूजा स्थल अधिनियम का स्पष्ट उल्लंघन है। ओवैसी ने कहा कि अयोध्या के फैसले में सुप्रीम कोर्ट (Supreme Court) ने कहा था कि अधिनियम भारत की धर्मनिरपेक्ष विशेषताओं की रक्षा करता है, जो संविधान की बुनियादी विशेषताओं में से एक है।

उन्होंने आगे कहा कि यह यह दुर्भाग्यपूर्ण है कि कोर्ट द्वारा सुप्रीम कोर्ट की खुलेआम अवहेलना की जा रही है। इस आदेश के साथ अदालत 1980-1990 के दशक की रथ यात्रा में हुए खून-खराबे और मुस्लिम विरोधी हिंसा (Anti-Muslim violence) का रास्ता खोल रही है।

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