Maharashtra Letter Bomb : सचिन वझे के आरोपों पर मंत्री अनिल परब ने खाई बाला साहेब की कसम, संजय राउत ने दी 'क्लीन चिट'
सचिन वझे ने लिखित बयान में कहा कि अनिल देशमुख जहां बार एवं रेस्टोरेंट्स से वसूली करने को कहते थे, वहीं अनिल परब ने मुंबई महानगरपालिका के ठेकेदारों से वसूली करने को कहा था।;
महाराष्ट्र में उद्योगपति मुकेश अंबानी (Mukesh Ambani) के घर एंटीलिया (Antilia) के बाहर विस्फोटक से भरी स्कॉपियो और मनसुख हिरेन की मौत (Mansukh Hiren Murder) के मामले की जांच आगे बढ़ने के साथ रोजाना नए चौंकाने वाले खुलासे हो रहे हैं। मामले में गिरफ्तार सचिन वझे (Sachin Vaze) ने ऐसा खुलासा किया है, जिससे महाराष्ट्र की उद्धव सरकार के लिए और ज्यादा परेशानी बढ़ गई है।
वझे ने एनआईए की पूछताछ में लिखित बयान देकर आरोप लगाया है कि पूर्व गृह मंत्री अनिल देशमुख (Anil Deshmukh) के साथ परिवहन मंत्री अनिल परब (Anil Parab) भी अवैध वसूली के लिए दबाव बनाते थे। वझे की बुधवार को कोर्ट में पेशी के दौरान यह लिखित बयान भी पेश किया गया। कोर्ट ने वझे की एनआईए कस्टडी 9 अप्रैल तक के लिए बढ़ा दी है। उधर, वझे के 'लेटर बम' से महाराष्ट्र की सियासत पहले के मुकाबले और गरमा गई है। संजय राउत ने जहां अनिल परब का बचाव किया है, वहीं केंद्रीय मंत्री रामदास अठावले ने सचिन वझे के आरोपों को गंभीर बताते हुए पूरी जांच कराने की मांग की है।
लेटर बम में शरद पवार के नाम का भी जिक्र
मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक सचिन वझे ने लिखित बयान में कहा कि अनिल देशमुख जहां बार एवं रेस्टोरेंट्स से वसूली करने को कहते थे, वहीं अनिल परब ने मुंबई महानगरपालिका के ठेकेदारों से वसूली करने को कहा था। वझे ने बयान में एनसीपी प्रमुख शरद पवार (Sharad Pawar) का भी जिक्र कियया। कहा कि मैंने 6 जून 2020 को निलंबन समाप्त होने के बाद ड्यूटी जॉइन की थी। इसके कुछ दिन बाद गृहमंत्री अनिल देशमुख ने नागपुर से फोन करके कहा कि शरद पवार उसकी नियुक्ति से खुश नहीं हैं और चाहते हैं कि उसे निलंबित कर दिया जाए।
वझे ने कहा कि गृह मंत्री ने शरद पवार को मनाने के लिए मुझसे दो करोड़ रुपये की मांग की। जब इतनी रकम बड़ी रकम देने में असमर्थता जताई तो उन्होंने कहा कि इसे बाद में दे देना। वझे ने कहा कि जनवरी 2021 में देशमुख ने फिर उसे अपने बंगले पर बुलाया और मुंबई के पब व रेस्टोरेंट्स से हर महीने तीन से साढ़े तीन लाख रुपये वसूली करने का आदेश दिया।
सचिन वझे ने लिखित बयान में परिवहन मंत्री अनिल परब पर भी गंभीर आरोप लगाए। कहा कि अनिल परब ने SBUT ( Saifee Burhani Upliftment Trust) से जुड़ी शिकायत पर ध्यान देने और SBUT के ट्रस्टी से इन्क्वायरी बंद करने के लिए 50 करोड़ रुपये मांगने की बात कही। मैंने ऐसा करने से मना कर दिया क्योंकि मैं SBUT में से किसी को भी नहीं जानता था। वझे ने अनिल परब से एक और मुलाकात का जिक्र करते हुए कहा कि उन्होंने 50 कंपनियों से 2-2 करोड़ रुपए वसूली के लिए कहा था।
परमबीर सिंह को बताई पूरी कहानी
पत्र के आखिर में वझे ने बताय कि उसने इस बारे में तत्कालीन कमिश्नर परमबीर सिंह (Paramveer Singh) को पूरी तरह से अवगत करा दिया था। वाजे ने आशंका जताई थी कि भविष्य में उसे किसी विवाद में फंसा दिया जाएगा। इसके बाद तत्कालीन कमिश्नर परमबीर सिंह ने किसी भी अवैध वसूली में शामिल होने से मना कर दिया था। पत्र के आखिर में वझे ने लिखा- जज साहब मैं यह बातें आपके सामने इसलिए ला रहा हूं, क्योंकि मैं चाहता हूं कि मुझे न्याय मिले।
परब ने किया आरोपों से इनकार, संजय राऊत बोले- यह राजनीतिक साजिश
अनिल परब ने मीडिया के सामने आकर वाजे की ओर से लगाए आरोपों को गलत बताया है। परब ने बालासाहेब ठाकरे और अपनी दो बेटियों की कसम खाते हुए कहा कि उन पर जो आरोप लगाए गए हैं, सब झूठे हैं। उन्होंने कहा कि यह एक साजिश है, जिसके पीछे भाजपा है। परब ने किसी भी प्रकार की जांच होने पर पूरा सहयोग करने की बात कही है। वहीं शिवसेना नेता संजय राउत ने कहा है कि यह राजनीतिक साजिश है। उन्होंने कहा कि अनिल परब ऐसा काम कभी नहीं कर सकते। मैं दावे से कहता हूं कि कोई भी शिवसैनिक बालाा साहेब के नाम की झूठी कसम नहीं लेगा।