देशभर में एक महीने का लगा 'लॉकडाउन' तो दो प्रतिशत गिर सकती है जीडीपी, इस रिपोर्ट में किया गया आगाह

मेरिकी ब्रोकरेज कंपनी बोफा सिक्योरिटीज ने आगाह करते हुए कहा कि भारत में राष्ट्रीय स्तर पर अगर एक महीने का ‘लॉकडाउन' लगाया जाता है तो जीडीपी में 2 प्रतिशत तक की गिरावट आ सकती है।;

Update: 2021-04-20 05:13 GMT

मुंबई। अमेरिकी ब्रोकरेज कंपनी बोफा सिक्योरिटीज (Bofa Securities) ने सोमवार को आगाह करते हुए कहा कि भारत में राष्ट्रीय स्तर पर अगर एक महीने का 'लॉकडाउन' (Lockdown) लगाया जाता है तो जीडीपी (Gross domestic product) में 2 प्रतिशत तक की गिरावट आ सकती है। ब्रोकरेज कंपनी ने उम्मीद जतायी है कि कोविड महामारी (Covid epidemic) को फैलने से रोकने के लिए स्थानीय स्तर पर ही Lockdown लगाया जाएगा। बोफा सिक्योरिटीज के विश्लेषकों ने अपनी रिपोर्ट में कहा कि एक महीने पहले कोविड के 35 हजार मामले थे जो अब सात गुना बढ़कर 2.61 लाख से अधिक हो गए हैं। इससे जो अभी शुरूआती चरण का पुनरूद्धार था, उसके लिए जोखिम उत्पन्न हो गया है।

रिपोर्ट के अनुसार, 'यह देखने की बात है कि क्या कोविड-19 की दूसरी लहर राष्ट्रीय स्तर पर 'लॉकडाउन' के बिना समाप्त होगी। राष्ट्रीय स्तर पर अगर एक महीने के लिये भी 'लॉकडाउन' लगाया जाता है, जीडीपी को एक से दो प्रतिशत का नुकसान हो सकता है। इसमें कहा गया है कि उच्च आर्थिक लागत को देखते हुए, हमारा अनुमान है कि केंद्र और राज्य सरकारें कोविड-19 की रोकथाम से जुड़े नियमों (मास्क, उचित दूरी आदि) को कड़ाई से लागू कर, रात्रि कर्फ्यू और स्थानीय स्तर पर 'लॉकडाउन' के जरिए इस पर अंकुश लगाने का प्रयास करेंगी।

कोरोना की रोकथाम के लिए लॉकडाउन जरूरी?

इसमें कहा गया है कि हाई इकोनॉमिक कॉस्ट को देखते हुए अनुमान है कि केंद्र और राज्य सरकारें कोविड-19 की रोकथाम से जुड़े नियमों जैसे- मास्क पहनना, सोशल डिस्टेंसिंग का पालन करना आदि को कड़ाई से लागू करके, नाइट कर्फ्यू और स्थानीय स्तर पर लॉकडाउन के जरिए इस पर अंकुश लगाने की कोशिश करेंगी। बता दें कि देशभर में कोरोना के मामले तेजी से बढ़ रहे हैं। स्वास्थ्य मंत्रालय के आंकड़ों के मुताबिक, सोमवार को भारत में 2,73,810 कोविड के नए मामले सामने आए, जो अब तक का सबसे बड़ा आंकड़ा है। इसी के साथ देश में अब कोरोना के मामले 1.5 करोड़ के पार हो गए।

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